देश में क्रूरता की हदें पार हो रही हैं। सैय्यद तक़वी

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    देश में सरकार जनता द्वारा चुनी जाती है जनता की मदद के लिए चुनी जाती है लेकिन शायद अब लगता है कि सरकार ने तय कर लिया है कि ना हम किसी की मदद करेंगे और ना किसी को करने देंगे।
    पिछले कुछ दिनों से जो तस्वीरें दिखाई दे रही है उससे तो यही जाहिर होता है कि काम करने वालों को काम नहीं करने दिया जा रहा है हर किसी को शक के दायरे में रखा जा रहा है यानी चोर की दाढ़ी में तिनका। क्रूरता की हदें बढ़ रही है। इंसानियत शर्मसार हो रही है। मानवता चीख रही है।
    ताजा मामला भी लखनऊ में सामने आया जब आप पार्टी के ऑक्सीजन युक्त ऑटो सीज कर दिए गए और ड्राइवर और सहायक को थाने पर बैठाया गया। जिसके विरोध में
    आप कार्यकर्ताओं ने हजरतगंज कोतवाली घेर ली।
    आप पार्टी ने लखनऊ में ऑक्सीजन युक्त ऑटो सर्विस फ्री में शुरु की थी। पुलिस कार्रवाई पर सांसद संजय सिंह भड़क गए और कहा कि बीजेपी क्रूर सोच वाली पार्टी है।
    उन्होंने कहा कि हमें गरीबों की मदद नहीं करने दिया जा रहा। लेकिन शायद सांसद संजय सिंह को यह नहीं मालूम है या वह यह भूल गए हैं कि इससे पहले भी काम करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की गई है चाहे वह पप्पू यादव हों या यूथ कांग्रेस के अध्यक्ष श्रीनिवास बीवी।इससे पहले गिरफ्तार होने वाले पूर्व सांसद हैं जन अधिकार पार्टी के प्रमुख राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव जो मधेपुरा से सांसद रहे हैं। पप्पू यादव ने कुछ दिन पहले छपरा के बीजेपी सांसद राजीव प्रताप रूडी के क्षेत्र में एंबुलेंस को छिपाकर रखने का मामला उठाया था। और यही बात शायद कुछ लोगों को खल गई। इस प्रकरण में पप्पू यादव के खिलाफ सारण के अमनौर थाने में दो एफआइआर दर्ज हैं।
    जबकि अगर देखा जाए तो कोरोना महामारी की इस विकट घड़ी में पप्पू यादव जरूरतमंद लोगों को ऑक्सीजन, बेड व जीवनरक्षक दवाएं उपलब्ध कराने की कोशिश कर रहे थे। कई लोगों को इनकी वजह से मदद भी मिली। पटना में पहले तो उन्हें कोविड वार्ड में हंगामा करने व लॉकडाउन के उल्लंघन में हिरासत में लिया गया फिर उन्हें वर्षों पुराने अपहरण के एक मामले में गिरफ्तार कर लिया गया। पिछले वर्षों में जब भी कोई समस्या आई है बिहार में पप्पू यादव लोगों की सहायता करते देखे गए हैं
    क्रूरता की और निर्दयता की और संवेदनहीनता की एक और मिसाल दिल्ली में देखने को मिली जहां दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा ने इंडियन यूथ कांग्रेस के अध्यक्ष श्रीनिवास बी वी से पूछताछ की। श्रीनिवास ने कोरोना महामारी के दौरान लोगों को मदद मुहैया कराई थी। उनके द्वारा की जा रही मदद को लेकर वह काफी चर्चा में भी आ गए थे।
    मीडिया खामोश है मीडिया संवेदनहीन हो गया वह भी सरकार से सवाल नहीं कर रहा है कि जो लोग मदद कर रहे हैं उनको क्यों रोका जा रहा है? क्यों परेशान किया जा रहा है? क्यों गिरफ्तार किया जा रहा है? क्यों पूछताछ की जा रही है?
    शायद सरकार ने तय कर लिया है कि ना हम काम करेंगे और ना किसी को करने देंगे। या तो फिर सरकार ने यह सोच लिया है कि काम तो सिर्फ़ हम करेंगे और दूसरों को नहीं करने देंगे भले ही काम नकारात्मक हो।
    और विपक्ष तो शायद भारत में शून्य हो चुकी हैं क्योंकि अगर विपक्ष के अंदर ताकत होती हिम्मत होती मजबूती होती तो शायद एक पार्टी देश में इस तरह की हरकतें ना करती।
    सरकार को इस बात पर सोचना चाहिए और विचार करना चाहिए कि देश सभी पार्टी और सभी पार्टी के नेताओं को साथ लेकर के चलने से तरक्की करता है भले ही सरकार एक पार्टी की हो लेकिन विपक्षी पार्टियों को साथ में लेकर चलने से देश में उन्नति होती है कोरोना संक्रमण के इस भयानक दौर में अगर जो सरकार कर रही है और उसके अलावा दूसरी पार्टी के नेता अगर व्यक्तिगत रूप से जनता की सहायता कर रहे हैं तो सरकार को ऐसी पार्टियों से नेताओं की सराहना करनी चाहिए।
    जयहिंद।

    सैय्यद एम अली तक़वी
    ब्यूरो चीफ दि रिवोल्यूशन न्यूज़

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